केन्द्रीय मंत्री श्रीप्रकाश जयसवाल ने आखिरकार ये मान ही लिया कि उनकी सरकार में भी भ्रष्टाचार है। आगरा में व्यापारियों की एक सभा में वो भ्रष्टाचार पर बोल रहे थे। उन्होने मंच से कहा कि "मैं भ्रष्टाचार से इनकार नही करता। केन्द्रीय सरकार के कार्यालयों में भी भ्रष्टाचार है। मैं ये नही कहता कि वहां सब सदाचार है।" लेकिन फिर भी जयसवाल यूपी की सरकार पर धावा बोलने से नही चूके उन्होने मायावती पर प्रयोजित भ्रष्टाचार कराने का आरोप लगाया।
जयसवाल साहब ये क्या कह दिया आपने? जिनके घर शीशे के हों वो दूसरों के घरों पर पत्थर नही फेंका करते।
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